अधिवक्ता संघ का दूसरे पक्ष का चुनाव हुआ संपन्न

राज्य

 

संतोष कुमार सोनी के साथ धर्मेन्द्र की रिपोर्ट
बांदा। अधिवक्ता संघ आमसभा द्वारा अधिकृत पूर्व प्रथम चुनाव अधिकारी ने स्थगित चुनाव प्रक्रिया को बहाल करते हुए 30 मार्च 2024 को नाम वापसी के बाद सभी पदों पर एकल प्रत्याशी बचने के कारण चुनाव परिणाम घोषित कर दिए। मिली जानकारी के अनुसार
निर्वाचन अधिकारी वरिष्ठ अधिवक्ता पुरुषोत्तम पांडे ने अपने कार्यालय से एक पत्र जारी करते हुए दिनांक 29 मार्च को बताया था कि बार काउंसिल के निर्देशानुसार तमाम प्रकार के विवाद उत्पन्न होने के चलते मैंने 28 फरवरी को चुनाव प्रक्रिया स्थगित कर दी थी ।जिसे एल्डर कमेटी के सदस्य गण एवं अन्य वरिष्ठ अधिवक्ता गणों के आग्रह पर पुनः बहाल करते हुए 30 मार्च को पूर्व में किए गए नामांकन की नाम वापसी का एक अतिरिक्त मौका देकर 1 अप्रैल को चुनाव तय किया है। लेकिन 30 मार्च को ही नाम वापसी के क्रम में अध्यक्ष पद पर नंदकिशोर कुशवाहा और महासचिव पद पर नरेंद्र कुमार गुप्ता व विपिन मिश्रा के नाम वापस लेने के कारण सभी पदों पर एकल प्रत्याशी ही बचे जिन्हें निर्विरोध रूप से निर्वाचित घोषित किया जाता है। निर्वाचित हुए प्रत्याशियों में अध्यक्ष पद पर एडवोकेड वीरेंद्र कुमार पांडे महासचिव पद पर अनपत सैनी निर्वाचित घोषित किए गए ।वहीं वरिष्ठ उपाध्यक्ष एड ० सतीश चंद्र चंदेल व कनिष्ठ उपाध्यक्ष पद पर राजकुमार पाठक निर्वाचित हुए ।संयुक्त सचिव प्रशासन एड ० शारदा प्रसाद शुक्ला, संयुक्त सचिव प्रशासन राजेश रंजन त्रिपाठी एवं संयुक्त सचिव पुस्तकालय चंद्रपाल यादव को निर्विरोध निर्वाचित घोषित किया गया ।वहीं कोषाध्यक्ष पद पर अधिवक्ता राम नरेश यादव के अलावा वरिष्ठ सदस्य गण में अधिवक्ता रविकांत, रमेश सिंह रजनीकांत शुक्ला व रमेश कुमार शर्मा एडवोकेट को बनाया गया ।इसके साथ ही अधिवक्ता संघ के दूसरे गुट ने भी अपने चुनाव परिणाम घोषित करते हुए पहले घोषित चुनाव परिणाम पर प्रश्न चिन्ह खड़ा कर दिया है। अब देखना यह होगा कि अधिवक्ता संघ में किन-किन गुटों के अध्यक्ष संघ में किस-किस तरह से काम करते हैं या बर काउंसिल सभी को मिलाकर एक करता है या कोई अन्य निर्णय देता है।

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